बढ़ा मानदेय रोकने से नाराज PGI के आऊटसोर्सिंग कर्मियों ने किया आंशिक कार्य बहिष्कार

0
18

अनिश्चितकालीन चलता रहेगा प्रदर्शन, 23 सितंबर को होगा पूर्ण बहिष्कार

Advertisement

लखनऊृ ।संजय गांधी पीजीआई संस्थान में कार्यरत 13 संवर्गों के आउट सोर्सिंग कर्मचारियों का हाल ही में बढ़ाया गया मानदेय निदेशक के आदेश पर रोक दिया गया था। जिसके बाद से लगातार आउटसोर्सिंग कर्मचारी बढ़ाया वेतन दिए जाने की मांग कर रहे थे लेकिन संस्थान प्रशासन की तरफ से कोई जवाब नहीं मिल रहा था। इसी से नाराज कर्मियों ने मंगलवार को आंशिक बहिष्कार कर संस्थान प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और विरोध प्रदर्शन भी किया। वहीं 22 सितंबर तक आंशिक कार्यबहिष्कार चलता रहेगा अगर तब तक मांग पूरी नहीं हुई तो 23 कर्मचारी 23 को पूर्ण कार्यबहिष्कार करेंगे। वहीं कर्मचारियों के बहिष्कार की वजह से पूरे अस्पताल में हड़कंप मच गया। लोगों को ओपीडी में दिखाने से लेकर जांच करवाने साथ ही वार्ड में भर्ती मरीजों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा।

आउटसोर्स कर्मियों ने बताया कि बीते एक अगस्त को पीजीआई ने गर्वनिंग बॉडी की बैठक में संस्थान में कार्यरत डाटा इंट्री ऑपरेटर, पेशेंट हेल्पर व अटेंडेंट समेत 13 संवर्ग के आउटसोर्सिंग कर्मचारियों के मानदेय में बढ़ोतरी को मंजूरी दी थी। कर्मचारियों को बढ़ा हुआ मानदेय सात सितम्बर के बाद मिलना था। लेकिन सितंबर के शुरुआत में ही संस्थान के निदेशक डॉ. आरके धीमन ने एक आदेश जारी कर अगले आदेश तक बढ़ा हुआ मानदेय कर्मचारियों को देने पर रोक लगा दी है। संस्थान प्रशासन के इस आदेश से कर्मचारियों की मुश्किलें बढ़ गई हैं। कर्मचारियों का कहना है कि संस्थान प्रशासन बढ़े हुए मानदेय के भुगतान पर जल्द स्थिति साफ करे। अन्यथा कर्मचारी 23 सितंबर को पूर्ण रूप से कार्य बहिष्कार करने पर मजबूर होंगे। कर्मचारियों ने बताया कि उन्होंने राज्यपाल, मुख्य सचिव, चिकित्सा शिक्षा सचिव और निदेशक पीजीआई को मंगलवार को होने वाले आंशिक बहिष्कार करने की चेतावनी दी थी साथ ही 23 सितंबर को होने वाले पूर्ण कार्य बहिष्कार की भी सूचना पहले से दी गयी है।

आउटसोर्सिंग कंपनी की धमकी से नाराज हुए आउटसोर्स कर्मी

जैसे ही मंगलवार को प्रशासनिक भवन के सामने आउटसोर्सिंग कर्मियों ने विरोध प्रदर्शन शुरू किया तो जानकारी होते ही संस्थान प्रशासन ने आउटसोर्सिंग कंपनी जीम एडवेंचर प्राइवेट कंपनी के अधिकारियों से धमकी भरा पत्र कर्मचारियों को भेज दिया। पत्र में लिखा गया कि जो भी कर्मचारी स्ट्राइक में शामिल होंगे उन्हे नौकरी से हटा दिया जाएगा। इस बात की जैसे ही कर्मचारियों को जानकारी हुई तो वो अनिश्चितकालीन धरने पर बैठ गये। अब कर्मचारियों का कहना है कि उनके ऊपर धरना समाप्त करने का दबाव बनाने के लिए नौकरी से हटाने की धमकी दी जा रही है। इसलिए वह 23 सितंबर तक दिन रात धरने पर बैठे रहेंगे। और 23 सितंबर तक संस्थान के बढ़ा मानदेय देने का कोई आदेश नहीं जारी किया तो पूर्ण कार्य बहिष्कार करेंगे।

Previous articleहर स्तर पर इलाज कराने में मदद करेगा रोगी कल्याण कार्यालय
Next articleKgmu: हो गयी नये डाक्टरों की नियुक्ति

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here