लखनऊ। गैर संचारी रोग अंतर्गत बीमारियां, वैश्विक स्तर पर तेजी से बढ़ती गंभीर और जानलेवा समस्याओं में से एक हैं। रोगी की सही समय पर स्क्रीनिंग होने से गैर संचारी रोग अंतर्गत बीमारियों का उपचार किया जा सकता है। प्रदेश के समस्त जनपदों में गैर संचारी रोगों के नियंत्रण के लिए सरकार द्वारा अभियान चलाया जा रहा है। 30 वर्ष से ऊपर के सभी लोगों को साल में एक बार गैर संचारी रोगों की जांच करानी चाहिये।
यह सलाह प्रमुख सचिव, चिकित्सा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग, पार्थ सारथी सेन शर्मा ने यहां आयोजित राज्य स्तरीय संगोष्ठी में दी। उन्होेंने कहा कि गैर संचारी रोगों के नियंत्रण के लिए सरकार द्वारा चलाये जा रहे अभियान को गति प्रदान करने के लिए स्वास्थ्य विभाग समस्त 75 जनपदों में कार्यरत चिकित्सा अधिकारियों को प्रशिक्षित कर रहा है। इसी क्रम में 17-19 फरवरी तक चतुर्थ बैच का 3 दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन राजधानी में किया जा रहा है। राज्य स्तरीय संगोष्ठी में पार्थ सारथी सेन शर्मा के साथ मिशन निदेशक, राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, डॉ पिंकी जोवल, महानिदेशक, चिकित्सा एव स्वास्थ्य सेवाएं, डॉ रतन पाल सिंह सुमन के साथ राज्य,जनपद स्तरीय नोडल अधिकारी एवं संबंधित चिकित्सकों ने भाग लिया। प्रशिक्षण में कुल 18 जनपदों के 64 से अधिक चिकित्सकों द्वारा प्रतिभाग किया गया।
प्रशिक्षण कार्यशाला में गैर संचारी रोग अंतर्गत प्रमुख चुनौतियों जैसे डायबिटीज, उच्च रक्तचाप एवं कैंसर (स्तन, सरवाइकल एवं ओरल) के नियंत्रण एवं रोकथाम के लिए रणनीतिबद्ध तरीके से कार्य किए जाने की अपेक्षा की गयी। इसके साथ ही 15 मार्च तक शत-प्रतिशत स्क्रीनिंग पूर्ण किए जाने के लिए निर्देशित कर, प्रदेश में गैर संचारी रोगों के लिए 30 वर्ष की आयु से अधिक के सभी लोगों की प्रत्येक वर्ष में कम से कम एक बार जांच किए जाने के साथ ही पहचान, रेफरल, उपचार एवं नियंत्रण के लिए हो रहे प्रयासों को गति प्रदान करने के लिए भी कहा गया। पौष्टिक आहार एवं स्वस्थ जीवन शैली अपनाने के लिए प्रत्येक स्तर पर व्यापक प्रचार-प्रसार कर संदर्भन एवं उपचार बढ़ाने के लिए प्रयास करने के सम्बन्ध में निर्देशित किया।
मिशन निदेशक, राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन डॉ पिंकी जोवल ने सभी प्रतिभागियों को अवगत कराया गया कि ई-कवच पोर्टल पर प्रदेश में तीस वर्ष की आयु से अधिक के सभी व्यक्तियों का रजिस्ट्रेशन पूर्ण किया जा चुका है।