लखनऊ। केजीएमयू कर्मचारी परिषद कर्मचारियो की मांगे आश्वासन दिये जाने के बाद भी पूरी न होने पर आंदोलन शुरू करने का निर्णय लिया है। इसके तहत कर्मचारी 17 अगस्त को सुबह पेट के बल लेटते हुए चिकित्सा शिक्षा मंत्री व मुख्यमंत्री आवास कालीदास मार्ग तक जाएंगे।
परिषद के अध्यक्ष प्रदीप का कहना है कि कर्मचारियों की मांगों को पूरा करने में अफसर आनाकानी कर रहे हैं। लगातार आश्वासन देने का बाद भी कोई काम नहीं हो रहा है। अब आंदोलन में उनके साथ केजीएमयू के सैकड़ों कर्मचारी भी शामिल होंगे। उन्होंने बताया कि इस अनूठे आंदोलन को देखते हुए केजीएमयू के कुलसचिव आशुतोष कुमार द्विवेदी ने आज चिकित्सा शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव को एक पत्र भेज दिया है। महामंत्री राजन यादव ने बताया कि केजीएमयू के गैर शैक्षणिक कर्मचारियों को पीजीआई लखनऊ के गैर शैक्षिक कर्मचारियों के समान भर्ती हेतु न्यूनतम शैक्षिक एवं तकनीकी अर्हता व अनुभव, भर्ती की विधि एवं कार्य उत्तरदायित्व रखते हुए पीजीआई के समान वेतन भत्ते एवं अन्य सुविधाएं शासनादेश निर्गत की तिथि 23 अगस्त, 2016 से अनुमन्य की गई है, लेकिन शासनादेश के बाद संवर्गीय पुनर्गठन की प्रक्रिया पांच साल बाद अभी तक पूर्णत: लंबित है। वर्तमान समय तक मात्र नर्सिंग एवं समाजशास्त्री संवर्ग का शासनादेश जारी किया गया है। इससे केजीएमयू कर्मचारियों में अधिक रोष व्याप्त है। गुरुवार को कुलसचिव की ओर से प्रमुख सचिव को भेजे गए पत्र में अनुरोध किया गया है कि कर्मचारी परिषद के मांग पत्र के अनुसार केजीएमयू प्रशासन को निर्देश जारी करें।