लखनऊ। आबकारी विभाग की टीम ने मुखबिर की सूचना पर गुरूवार को बंथरा इलाके के एक ढाबे पर अचानक छापा मारा। जहां छापे के दौरान टीम को भारी मात्रा में अवैध अल्कोहल बरामद हुआ। हालाकि छापंे की भनक लगते ही अल्कोहल कारोबारी मौके से भाग निकला। लेकिन टीम को कारोबारी का एक नौकर मौके से हाथ लग गया। जिसके खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कर उसे जेल भेज दिया गया है। उधर मौके से बरामद अल्कोहल को कब्जे में लेने के साथ ही उसकी जांच के लिए नमूने भी लिए गए है।
आबकारी निरीक्षक शाशिबला के मुताबिक उन्हे मुखबिर से सूचना मिली कि बंथरा के जुनाबगंज तिराहे स्थित ज्वाला ढाबे के पीछे काफी समय से अवैध अल्कोहल का कारोबार हो रहा है। मुखबिर की सूचना पर गुरूवार को आबकारी टीम में शामिल निरीक्षक संजय मिश्रा व लक्ष्मी शंकर के अलावा बंथरा पुलिस के साथ मौके पर पहुंच कर छापा मारा गया, जहां एक युवक करीब 30 लीटर अवैध अल्कोहल भरा जरीकेन हाथो में लिए खड़ा मिला। टीम ने आनन फानन उसे पकड़ लिया और उससे पूछताछ करने के साथ ही वहां तलाशी ली तो ढाबे के पीछे अल्कोहल से भरे लोहे के 6 ड्रम बरामद हुए।
इनमें करीब 1160 लीटर अवैध अल्कोहल भरा था। पूछताछ में युवक ने अपना नाम उन्नाव जिले के सोहरामऊ थानान्तर्गत मजरिया बाग निवासी सुजीत कुमार पुत्र अयोध्या प्रसाद बताया। सुजीत ने बताया कि ज्वाला सिंह नामक ढाबा संचालक की जमीन पर काफी दिनो से चल रहे इस अवैध अल्कोहल कारोबार में वह मजदूर के तौर पर काम करता है
पुलिस को थी जानकारी
पुलिस सूत्रों की माने तो यह अवैध अल्कोहल का कारोबार काफी दिनों से बंथरा पुलिस की सांठगाठ से हो रहा था। यहां खुलेआम टैंकरो से अल्कोहल व डीजल-पेट्रोल खरीद कर ग्रामीण क्षेत्रो में सप्लाई किया जा रहा था। इस अवैध कारोबार के एवज में बंथरा पुलिस कारोबारी से मोटी रकम लेती थी। छापे के दौरान पकड़े गए सुजीत ने भी आबकारी अधिकारियो के सामने यह बात कबूल की है। उसने यहां तक बताया कि पुलिस को प्रति माह 6 हजार रूपये दिये जाते थे। यही वजह है कि कानपुर व बनी-मोहनलालगंज रोड के ठीक किनारे खुलेआम दिन रात चल रहे इस अवैध कारोबार को पुलिस नजर अन्दाज किए थी।