लखनऊ। किंग जार्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय में परीक्षा शुल्क बढ़ाने का रेजीडेंट डाक्टर्स एसोसिएशन ने भी नाराजगी व्यक्त कर दी है। रेजीडेंट डाक्टर्स एसोसिएशन ने कुलपति प्रो. रविकांत को परीक्षा शुल्क कम करने का आग्रह कर साथ ही राज्यपाल व कुलाधिपति रामनाइक को भी ज्ञापन भेज कर परीक्षा शुल्क करने का हस्तक्षेप किया है। इससे पहले मंगलवार को केजीएमयू के एमबीबीएस व बीडीएस के मेडिकोज ने परीक्षा शुल्क बढ़ाने जाने का विरोध करते हुए कुलपति कार्यालय पर प्रदर्शन किया था।
गरीब मेडिकोज का परीक्षा शुल्क जमा करने का दावा किया था –
केजीएमयू प्रशासन ने परीक्षा को बेहतर बनाने के नाम पर एमबीबीएस बीडीएस संिहत मेडिकोज का परीक्षा शुल्क साढ़े सात हजार रुपये से बढ़ा कर सोलह हजार कर दिया है। मंगलवार को सभी मेडिकोज ने कल एकत्र होकर वीसी कार्यालय पहुंचे आैर शुल्क कम करने के लिए कुलपति से नाराजगी व्यक्त किया आैर कम करने का अनुरोध किया था। पर केजीएमयू ने उनकी इस मांग को खंडन करते हुए तर्क दिया था आैर गरीब मेडिकोज का परीक्षा शुल्क जमा करने का दावा किया था, लेकिन अन्य मेडिकोज को शुल्क निर्धारित समय में ही जमा करने का दावा किया था।
बुधवार को अब केजीएमयू के रेजीडेंट डाक्टर्स एसोसिएशन ने बढ़े शुल्क का विरोध कर दिया है। मेडिकोज के लिए निर्णय न बताते हुए कहा है कि अगर आंकलन किया जाए तो देश के लगभग 17 मेडिकल कालेज में केजीएमयू परीक्षा शुल्क को सोलह हजार रुपये करने वाला पहला संस्थान बन गया है। एसोसिएशन ने राज्यपाल को भी पत्र भेज कर हस्तक्षेप करना अनुरोध किया है। बताते चले कि अचानक परीक्षा शुल्क बढ़ने पर पेपर की तैयारी कर रहे मेडिकोज में आक्रोश व्याप्त हो गया है।